जामुन को एक स्वादिष्ट फल के रूप में सभी जानते हैं लेकिन क्या आप जानते हैं जामुन गुणों से भरपूर एक औषधि भी है . आइये जानते हैं आखिर जामुन किस रोग की दवा है ? इस आर्टिकल में हम आपको जामुन के फायदे और औषधीय गुणों के बारे में बताने जा रहे हैं .
जामुन का परिचय
ग्रीष्म और वर्षा ऋतु में पैदा होने वाला जामुन एक अत्यंत गुणकारी फल है . जामुन भारत में लगभग सभी जगह पाया जाने वाला फल है . मुख्य रूप से जामुन दो प्रकार का पाया जाता है . एक छोटा और एक बड़ा जामुन मिलता है . दोनों प्रकार के जामुन में अलग अलग गुण पाए जाते हैं . जामुन में आयरन भरपूर मात्रा में पाया जाता है , इसके अलावा जामुन में फोस्फोरस , कैल्शियम , प्रोटीन , कार्बोहाइड्रेट आदि पोषक तत्त्व भी पाए जाते हैं . [ यह भी पढ़ें – हल्दी के फायदे ]
जामुन की गुठली की गिरी में ‘ जम्बोलिन ‘ नामक ग्लूकोसाइड पाया जाता है जो स्टार्च को ग्लूकोज में परिवर्तित होने से रोकता है . जामुन में मौजूद आयरन शरीर में रक्त बढाने के साथ रक्त की अशुद्धियों को नष्ट करता है और लिवर के लिए लाभदायक रहता है .
जामुन के फायदे
जामुन बहुत स्वादिष्ट और पौष्टिक फल होता है . जामुन औषधीय गुणों से भरपूर होने के कारण सेहत के लिए लाभदायक और विभिन्न रोगों के उपचार में भी सहायक होता है . यह दांतों को मजबूत बनाने वाला , रक्त विकारों को दूर करने वाला , खांसी और दस्त मिटाने वाला होता है . जामुन के फल की गुठलियाँ भी बहुत उपयोगी होती हैं और डायबिटीज के रोगियों के लिए बहुत लाभदायक होती हैं .
जामुन का प्रयोग डायबिटीज , खांसी , अतिसार , रक्तार्श , प्रदर , स्वप्न दोष , प्रमेह आदि रोगों की दवा बनाने में किया जाता है .
जामुन किस रोग की दवा है ?
कई बार प्रश्न किया जाता है कि जामुन किस रोग की दवा है ? दोस्तों जामुन किसी एक रोग की नहीं बल्कि कई रोगों की दवा के रूप में प्रयोग किया जाता है . नीचे हम बताने जा रहे हैं कि जामुन का किस किस रोग में प्रयोग किया जा सकता है –
डायबिटीज में जामुन के फायदे
जामुन की गुठली का चूर्ण नियमित सेवन करने से डायबिटीज में बेहद फायदा होता है . ( यह भी पढ़ें – डायबिटीज के लक्षण और उपाय )
जामुन का प्रयोग कर्ण रोगों में
कान बहने पर जामुन की गुठली के तेल की दो दो बूँदें कान में डालने पर लाभ होता है .
आमातिसार में जामुन का प्रयोग
जामुन की छाल का चूर्ण का प्रयोग आमातिसार में लाभदायक होता है .
मुंह के छालों में जामुन के उपयोग
जामुन की पत्तियों को उबालकर उस काढ़े से कुल्ला करने पर मुंह के छालों में लाभ होता है .
खूनी बवासीर में जामुन के लाभ
जामुन की ताजा कोंपलों का रस मिश्री में मिला कर सेवन करने से खूनी बवासीर में फायदा होता है . ( यह भी पढ़ें – खूनी बवासीर का रामबाण इलाज )
मूत्र रोगों में जामुन के फायदे
बार बार पेशाब आने की शिकायत होने पर जामुन की गुठली का चूर्ण सेवन करने से लाभ मिलता है . ( यह भी पढ़ें – प्रोस्टेट क्यों बढ़ता है )
स्वप्न दोष में जामुन से लाभ
स्वप्न दोष की शिकायत होने पर जामुन की गुठली का चूर्ण ताजा पानी से 20 -30 दिनों तक नियमित लेने से लाभ मिलता है .
डायरिया में जामुन का उपयोग
जामुन की पत्तियों का अर्क छाछ के साथ लेने से दस्त में फायदा होता है . ( यह भी पढ़ें – बार बार दस्त लगने का क्या कारण है )
जामुन का दांतों के लिए उपयोग
जामुन की पत्तियों की राख बना कर , छानकर इसमें सैंधा नमक मिला कर मंजन भी बनाया जाता है .
खूनी दस्त में जामुन लाभदायक
जामुन की गुठली का चूर्ण का सेवन खूनी दस्त में भी लाभदायक होता है .
जामुन के सिरके के फायदे
जामुन का सिरका बल को बढाने वाला व पेट के रोगों में फायदा पहुंचाने वाला होता है . जामुन के सिरके के फायदे निम्नलिखित हैं –
- जामुन का सिरका आँतों के समस्त विकारों में लाभदायक होता है .
- पेट में बाल निगले जाने पर जामुन का सिरका बराबर पानी से लेने पर तत्काल फायदा होता है .
- जामुन के सिरके से पेट दर्द में लाभ होता है .
- अफारा होने पर जामुन के सिरके का सेवन करने से तत्काल लाभ होता है .
- जामुन का सिरका स्किन के लिए अच्छा होता है .
- जामुन का सिरका पेट में गैस और कब्ज में फायदेमंद होता है .
- जामुन का सिरका पेशाब सम्बंधित समस्याओं से राहत दिलाने में सहायक है .
- जामुन में एंटी बैक्टीरियल गुण होने के कारण संक्रमण से बचाव में सहायक है .
- जामुन का सिरका किडनी और लिवर के लिए अच्छा होता है .
- जामुन डायबिटीज रोगियों के लिए फायदेमंद होता है .
दोस्तों , आज के लेख में हमने जामुन के फायदे और जामुन के सिरके के फायदे जानें . अगले लेख में अन्य उपयोगी जानकारी के साथ हाजिर होंगे .
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